Friday, September 20, 2024

*आयोग की 19 परीक्षाएं जांच के दायरे में, पेपर लीक प्रकरण की छानबीन करने पहुंचे डीआईजी विजिलेंस*

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*आयोग की 19 परीक्षाएं जांच के दायरे में, पेपर लीक प्रकरण की छानबीन करने पहुंचे डीआईजी विजिलेंस*

*2 अप्रैल 2023*

 

*कार्रवाई का लिया रिव्यू*

 

*हमीरपुर ब्यूरो*

भंग हो चुके हिमाचल प्रदेश कर्मचारी चयन आयोग हमीरपुर की 19 भर्ती परीक्षाएं जांच के दायरे में हैं। पेपर लीक प्रकरण की पहली एफआईआर में नामजद किए गए आयोग के पूर्व सचिव जितेंद्र कंवर की गिरफ्तारी को लेकर भी विजिलेंस ने संकेत दिए हैं। ऐसे में संभावना जताई जा रही है कि जल्द ही पूर्व सचिव को गिरफ्तार किया जा सकता है। पेपर लीक प्रकरण मामले का रिव्यू करने के लिए शनिवार को डीआईजी विजिलेंस हमीरपुर पहुंचे। हमीरपुर पहुंचे डीआईजी विजिलेंस जी शिवा कुमार ने कई बड़े खुलासे किए हैं। बहुचर्चित पेपर लीक प्रकरण की जांच के रिव्यु के दौरान डीआईजी जी शिवा कुमार ने मामले से जुड़े सभी पहलुओं पर विजिलेंस के अधिकारियों से बातचीत की है। बता दें कि पेपर लीक प्रकरण में अब तक पांच एफआईआर दर्ज हो चुकी है। मामले में कर्मचारी चयन आयोग के कर्मचारियों सहित कई अभ्यर्थियों को भी गिरफ्तार किया है।

 

 

मामले में कुछ आरोपी पुलिस रिमांड में है, जबकि कुछ हिरासत में चल रहे हैं। वहीं, विजलेंस द्वारा की जा रही कार्रवाई में पेपल लीक मामले में जुड़े नए साक्ष्य मिल रहे हैं। कर्मचारी चयन आयोग पेपर लीक प्रकरण की जांच में कई परीक्षाओं में गड़बडिय़ां सामने आई है। यहां तक की कई अभ्यर्थी पेपर खरीद कर सरकार के विभिन्न विभागों में नौकरी कर रहे हैं। ऐसा ही एक मामले में पिछले दिनों ट्रैफिक इंस्पेक्टर को गिरफ्तार किया है। आरोपी हमीरपुर जिला का रहने वाला है, जो कि कांगड़ा में सेवाएं दे रहा था। पूर्व सचिव की गिरफ्तारी के सवाल पर डीआईजी ने कहा कि जिनके खिलाफ सबूत मिलेंगे वह गिरफ्त में होंगे। उन्होंने कहा कि जिस भी आरोपी के खिलाफ सबूत मिलेंगे उसे जरूर गिरफ्तार किया जाएगा।

 

*सात न्यायिक हिरासत में*

 

ट्रैफिक इंस्पेक्टर पेपर लीक मामले में गिरफ्तार आरोपी को माननीय न्यायलय से पांच दिन का पुलिस रिमांड मिला है। अरोपी को उसके जिला मुख्यालय के साथ सटे गांव घनाल खुर्द से गिरफ्तार किया गया था। पांच दिन पुलिस रिमांड के दौरान आरोपी से गहन पूछताछ होगी। उम्मीद जताई जा रही है कि पुलिस रिमांड के दौरान आरोपी से महत्त्वपूर्ण इनपुट्स एसआईटी को मिल सकते हैं। वहीं, चार विभिन्न पोस्ट कोड में नामजद सात आरोपियों को 14 दिन की न्यायिक हिरासत में भेजा है।

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